भारत समेत पूरी दुनिया में इस समय कोरोना वायरस अपना कहर बरसा रहा है। वहीं, दूसरी तरफ परागज ज्वर, जिसे हे फीवर भी कहा जाता है, के मामले भी तेजी से बढ़ रहे हैं। हे फीवर एक तरह की एलर्जी हैं जो आमतौर पर वसंत, गर्मी और शरद ऋतु में लोगों को ज्यादा प्रभावित करता है। यह उत्तरी गोलार्ध के अधिकतर देशों में गर्म मौसम में पराग कणों के कारण होती है। वैसे तो मौसमी एलर्जी बेहद आम है, लेकिन कोरोना महामारी की वजह से सामान्य बुखार होने पर भी लोग घबरा रहे हैं। खैर, लोगों का घबराना भी ठीक है क्योंकि कोविड और हे फीवर के ज्यादातर लक्षण एक जैसे हैं। ऐसे में आज के इस आर्टिकल में हम कोविड और हे फीवर के लक्षणों के बारे में बताएँगे और इसके साथ ही हम यह भी बताएँगे कि कैसे ये दोनों एक दूसरे से अलग है।
कोविड के लक्षण बनाम हे फीवर के लक्षण
ब्रिटेन के जेडओई ऐप का नवीनतम डेटा, दिखाता है कि कोविड के सबसे सामान्य लक्षण अब गले में खराश के हैं। इसके बाद इसके बाद सिरदर्द, खांसी, नाक का बंद होना और नाक बहना जैसे लक्षण हैं। ये सभी लक्षण हे फीवर से जुड़ी एलर्जी वाले लोगों को भी प्रभावित करते हैं। लेकिन कुछ ऐसे लक्षण हैं जो हे फीवर और कोरोना के बीच अंतर करने में मदद करते हैं।
आंखों में खुजली होना-
जब हे फीवर लोगों को अपनी चपेट में ले लेता है तो उस व्यक्ति को आँखों में खुजली होना, आँखों का लाल होना, आँखों से पानी पहना या आँखों का सूज जाना जैसी समस्या होती है, जो कोरोना वायरस से पीड़ित मरीज को नहीं होती है। इसलिए अगर आपको बुखार के साथ ये लक्षण नजर आ रहे हैं तो आप कोरोना वायरस से नहीं बल्कि हे फीवर से पीड़ित हैं।
दस्त, उल्टी और जी मिचलाना जैसी समस्या-
आमतौर पर कोरोना वायरस से संक्रमित होने पर पीड़ित व्यक्ति में ये लक्षण दिखते हैं। विशेष रूप से दस्त, जो संक्रमण के पहले दिन शुरू होते हैं और हर बीतते दिन के साथ गंभीर होते जाते हैं। ये लक्षण किसी भी तरह से हे फीवर के जुड़े नहीं हैं।
मांसपेशियों में दर्द होना- कोरोना वायरस से संक्रमित होने पर पीड़ित व्यक्ति को मांसपेशियों में दर्द होता है। ये दर्द हल्के से शुरू होकर गंभीर हो सकता है। इसके अलावा इस मांसपेशियों में दर्द के साथ थकान होना भी कोरोना का एक लक्षण है जो पराग कणों से होने वाली एलर्जी से जुड़ा नहीं है।